तारों में सज के, अपने सूरज से | Taron Mein Sajke Apne Suraj Se | Jal Bin Machhli Nritya Bin Bijli (1971) | hindi lyrics

तारों में सज के, अपने सूरज से,
देखो धारती चले मिलाने
जानकी पायल मच गई हलचल
अंबर सारा लगा हिलाने
तारों में सज के, अपने सूरज से,
देखो धारती चले मिलाने

है घटाओ का, दो नैन में काजली
धूप का मुख पे दले
सुनाहरा सा आंचल
है घटाओ का, दो नैन में काजली
धूप का मुख पे दले
सुनाहरा सा आंचल
यूं लहरी ली अंगदेई,
लगे जैसे धनक खिलाड़ी
तारों में सज के, अपने सूरज से,
देखो धारती चले मिलाने

आग देखते हैं लापता, जलती हुई रहें
जी को दहलाये, बीच तूफ़ान की आहे
आग देखते हैं लापता, जलती हुई रहें
जी को दहलाये, बीच तूफ़ान की आहे
ना डरेगी ना रुकेगी,
देखे क्या हो कहा दिल ने
तारों में सज के, अपने सूरज से,
देखो धारती चले मिलाने
देखो धारती चले मिलाने
देखो धराते चले मिलाने।

Movie:Jal Bin Machhli Nritya Bin Bijli
Singer:Mukesh Chand Mathur (Mukesh)
Music:Laxmikant Pyarelal
Lyrics:Majrooh Sultanpuri

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